प्रयागराज :
एकीकृत बागवानी विकास मिशन योजनान्तर्गत बागवानी फसलों के उत्पादन एवं उनके प्रसंस्करण को प्रोत्साहित करने हेतु जिलाधिकारी की अध्यक्षता में कार्यशाला का किया गया आयोजन
उत्तर प्रदेश राज्य औद्यानिक सहकारी विपणन संघ (हाफेड) तथा उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण, विभाग द्वारा एकीकृत बागवानी मिशन योजना के अन्तर्गत बागवानी फसलों के उत्पादन एवं उनके प्रसंस्करण कोे प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से गुरूवार को सिविल लाइन्स के होटल इलावर्त में मुख्य अतिथि जिलाधिकारी श्री संजय कुमार खत्री की अध्यक्षता में कार्यशाला का आयोजन किया गया।
कार्यशाला में श्री विजय बहादुर द्विवेदी, संयुक्त निदेशक (शाकभाजी) निदेशालय उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण उ0प्र0, लखनऊ, श्री के0एम0 चैधरी, मुख्य उद्यान विशेषज्ञ, औद्यानिक प्रयोग एवं प्रशिक्षण केन्द्र, खुशरूबाग, प्रयागराज, श्री पंकज कुमार शुक्ला, उप निदेशक उद्यान, प्रयागराज मण्डल, प्रयागराज, श्रीमती प्रतिभा पाण्डेय, जिला उद्यान अधिकारी, प्रयागराज, श्री अनिरूद्ध सिंह, मौनवेत्ता, हाफेड के पदाधिकारी श्री शैलेन्द्र राजन, श्री मुन्ना पटेल तथा जनपद के किसानों द्वारा प्रतिभाग किया गया।
जिलाधिकारी महोदय द्वारा कृषकों को फल, फूल, सब्जी उत्पादन सम्बन्धी नवीनतम तकनीकी अपनाने पर बल दिया तथा कार्यक्रम के आयोजन पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि यह कार्यशाला कृषकों, बागवानों के लिए मील का पत्थर साबित होगी।
कार्यशाला में श्री पंकज कुमार शुक्ला, उप निदेशक उद्यान, प्रयागराज मण्डल, प्रयागराज द्वारा उद्यान विभाग द्वारा संचालित योजनाओं नीतियों, कार्यक्रमों, श्री के0एम0 चैधरी द्वारा सब्जियों की संरक्षित खेती सम्बन्धित, श्री अनिरूद्ध सिंह, मौनवेत्ता द्वारा मधुमक्खी पालन सम्बन्धित, डाॅ0 शैलेन्द्र राजन डायरेक्टर सी0आई0एस0एच0, लखनऊ द्वारा औद्यानिकी से सम्बन्धित नवीनतम तकनीकी जानकारी डाॅ0 हेमलता पन्त सहायक प्रोफेसर, सी0एम0पी0 डिग्री काॅलेज द्वारा मशरूम की खेती से सम्बन्धित तकनीकी जानकारियाॅ दी गयी। डाॅ0 बी0बी0 द्विवेदी, संयुक्त निदेशक (शाकभाजी) द्वारा प्रधानमन्त्री सूक्ष्म खाद्य उद्योग उन्नयन योजना के बारे में कार्यशाला में मौजूद कृषकों को समझाते हुए अवगत कराया कि यह ओ0डी0ओ0पी0 आधारित भारत सरकार की एक महत्वपूर्ण योजना है।
इसके तहत नयी सूक्ष्म खाद्य प्रसंस्करण इकाईयों की स्थापना व पुराने के उन्नयन हेतु सब्सिडी प्रदान की जाती है। इस योजना के माध्यम से औद्यानिकी उत्पादकों, किसानों, बागवानों को उत्पादन का लाभकारी मूल्य दिलाने, उत्पादन गुणवत्ता में सुधार लाने तथा उपभोक्ताओं को उत्तम किस्म के फल एवं सब्जी के प्रसंस्कृत उत्पाद उचित मूल्य पर सुलभ कराने, औद्यानिक उत्पादन और उनके प्रसंस्कृत उत्पाद के विपणन का कुशलतापूर्वक प्रबन्धन करके बागवानी कृषकों का आर्थिक विकास किया जा सकता है।
जिलाधिकारी प्रयागराजकी अध्यक्षता में जिला सलाहकार समिति की बैठक सम्पन्न
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जिलाधिकारी श्री संजय कुमार खत्री की अध्यक्षता में गुरूवार को संगम सभागार में पी0सी0पी0एन0डी0टी0 (जिला सलाहकार समिति) की बैठक सम्पन्न हुई। बैठक में जिलाधिकारी ने अपर मुख्य चिकित्साधिकारी/नोडल अधिकारी डाॅ0 ए0के0 तिवारी से पूछा कि रजिस्टेªशन क्यों करना आवश्यक है, जिसपर नोडल अधिकारी द्वारा बताया गया कि कन्या भूण्र हत्या रोकना सरकार की प्राथमिकता है, इसलिए रजिस्ट्रेशन कराया जाता है, इसके प्रभावी रोक के लिए समय समय पर मजिस्टेªट एवं स्वास्थ्य अधिकारियों द्वारा केन्द्रों का निरीक्षण किया जाता है।
अनियमितता पाये जाने पर उनके विरूद्ध कार्यवाही की जाती है। जिलाधिकारी द्वारा निर्देशित किया गया है कि सभी अल्ट्रासाउण्ड केन्द्र आनलाइन फार्म एफ की फीडिंग करना सुनिश्चित करें, जो ऐसा नहीं करेगा, उसके विरूद्ध एक हफ्ते बाद नोटिस जारी की जायेगी। उसके बाद भी यदि फीडिंग नहीं किया जायेगा तो उनका रजिस्टेªशन समाप्त कर दिया जायेगा। प्राप्त आवेदनों में जो पहले आवेदन दिये है, उसमें से 50 प्रतिशत पर सहमति प्रदान की गयी है। बैठक में डाॅ0 कमलाकर सिंह, डाॅ0 राजेश, संयुक्त निदेशक अभियोजन, आलोक वर्मा और अनिल यादव उपस्थित रहे।